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बीकानेर, जिला प्रशासन तथा महिला अधिकारिता द्वारा कार्यस्थल पर लैंगिक उत्पीड़न रोकने संबधित एक दिवसीय कार्यशाला का आयोजन मंगलवार को जिला परिषद सभागार में किया गया। इस दौरान जिला कलेक्टर नम्रता वृष्णि ने कहा कि सभी कार्यालयाध्यक्ष महिला कार्मिकों के प्रति सापेक्ष दृष्टिकोण अपनाएं, जिससे महिलाएं समानता और सम्मान के साथ आगे बढ़ सकें। उनके मौलिक अधिकारों का संरक्षण हो।
जिला परिषद के मुख्य कार्यकारी अधिकारी ने सोहनलाल ने कहा जिला कलेक्टर की पहल पर यह कार्यशाला आयोजित हुई है। कर्यालयाध्यक्ष इसकी गंभीरता समझे और निचले स्तर तक इनका आयोजन हो।
महिला अधिकारिता विभाग की उपनिदेशक डॉ. अनुराधा सक्सेना ने कार्यस्थल पर लैंगिक उत्पीड़न निवारण, प्रतिषेध प्रतितोष अधिनियम 2013 के संबंध में जानकारी दी। उन्होंने कहा कि कार्यशाला की पालना में कार्यालय स्तर पर गठित आंतरिक शिकायत समितियों की सूचना महिला अधिकारिता विभाग के भिजवाएं। विशाखा गाइडलाइन पर प्रकाश डालते हुए स्थानीय समिति की सदस्य और बाल कल्याण समिति की पूर्व अध्यक्ष डॉ. किरण सिंह और एमएस कॉलेज की डॉ.नूरजहाँ ने विचार रखे। एड. सुनीता हटीला ने महिलाओं से संबंधित कानूनों और अधिनियमों की जानकारी ग्राम स्तर तक पहुंचाने की आवश्यकता जताई। कार्यशाला में सरकारी गैर सरकारी विभागों, निजी एवं सरकारी महाविद्यालयों, शिक्षा, पुलिस विभाग चिकित्सा विभाग के साथ अन्य विभागो के लगभग 190 प्रतिनिधियों ने भाग लिया। इस अवसर पर महिला अधिकारिता के सखी सेंटर, महिला सुरक्षा सलाह केन्द्र के काउंसलर व डीएचईडब्ल्यू, ब्लॉक सुपरवाइजर उपस्थित रहे। संरक्षण अधिकारी सतीश परिहार ने अधिनियम के तहत गठित स्थानीय समिति के बारे में बताया। कार्यक्रम का संचालन जिला परिषद के आईईसी कॉर्डिनेटर गोपाल जोशी ने किया।

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