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बीकानेर,राजस्थान में बाड़मेर से लेकर जोधपुर, नागौर, जयपुर, अजमेर, सीकर, अलवर समेत कई जिलों में नए जिले बनाने की लंबे समय से चल रही मांग के बाद अब अशोक गहलोत जब राजस्थान का बजट पेश करने जा रहे है तो लोगों को नए जिलों की घोषणा होने की उम्मीद बनी है.

चुनावी साल का बजट होने से उम्मीद को पर लगे है. बालोतरा विधायक मदन प्रजापत 10 महीने से नंगे पांव चल रहे है तो मोटर गैराज मंत्री राजेंद्र यादव जैसे नेता तो सरकार को धमकी भी दे चुके है कि अगर कोटपुतली को जिला घोषित नहीं किया तो मंत्री पद छोड़ देंगे.

राजस्थान में अशोक गहलोत सरकार का ये आखिरी बजट है. चुनावी साल है. ऐसे में जनता की हर उम्मीद को पूरा करने की सरकार कोशिश करेगी तो वहीं राजस्थान विधानसभा चुनाव 2018 में कांग्रेस के वादों को पूरा करने की भी कोशिश होगी. रामलुभाया कमेटी भी अपनी रिपोर्ट सौंप चुकी है. प्रदेश में 24 जिलों के करीब 60 इलाके ऐसे है जहां से जिला बनाने की मांग उठी है. इस कमेटी ने विस्तार से रिपोर्ट तैयार की है कि कौनसा इलाका जिला बनने के पैमाने पर खरा उतरता है. किस इलाके को जिला बनाने से उस इलाके के विकास में क्या फायदा हो सकता है तो वहीं कौनसा इलाका जिला बनाने के पैमाने पर खरा नहीं उतरता है.

राजस्थान में 6 नए जिले बनने की संभावना

अशोक गहलोत सरकार के इस बजट में अनुमान लगाया जा रहा है कि 5 से 6 नए जिले बनाने की घोषणा हो सकती है. इसमें जयपुर से कोटपुतली, बाड़मेर से बोलतरा और जोधपुर से फलौदी अलग जिला बन सकता है. तो वहीं नागौर से डीडवाना, अजमेर से ब्यावर और अलवर से भिवाड़ी अलग जिले बन सकते है. ये 6 वो इलाके है जो जिला बनने की रेस में सबसे आगे है. हालांकि अशोक गहलोत की मुहर किस जिले के हिस्से जाती है ये तो आने वाले वक्त में ही पता चलेगा.

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