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बीकानेर, 10 दिसंबर। प्रदेश के बड़े शहरों-कस्बों से लेकर सुदूर ढाणी तक गुणवत्तापूर्ण एवं निःशुल्क स्वास्थ्य सेवाएं आसानी से उपलब्ध करवाना राज्य सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता है। मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के नेतृत्व में विकसित राज्य बनाने की दिशा में स्वास्थ्य परिदृश्य के ढांचागत विकास पर विशेष जोर दिया जा रहा है‌। जिसका सकारात्मक प्रभाव स्पष्ट दिखने लगा है।
मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ राजेश कुमार गुप्ता ने जानकारी दी कि गत एक वर्ष में बीकानेर में चिकित्सा एवं स्वास्थ्य सेवाओं के ढांचागत विकास के क्रम में फूलासर बड़ा में 55 लाख रुपये की लागत से उप स्वास्थ्य केन्द्र तथा पांचू में 110 लाख रुपये की लागत से खण्ड मुख्य चिकित्सा अधिकारी कार्यालय भवन बनाया गया। नोखा तहसील के मूलवास-सीलवा में भामाशाहों के सहयोग से प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र भवन बनाया गया जिसका लोकार्पण मुख्यमंत्री भजन लाल शर्मा के करकमलों से हुआ। कुचौर आथुणी में 1.42 करोड़ रुपये की लागत से प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र भवन बनाया गया। श्रीडूंगरगढ़ तहसील के प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र सांवतसर का भवन 1.43 करोड़ रुपये की लागत से बनाया गया। कोलायत में 16 बीघा भूमि पर 40.42 करोड़ रुपये की लागत से उप जिला चिकित्सालय भवन बनाया जा रहा है।
इसी प्रकार सोनियासर शिवदान सिंह, जयमलसर, जामसर, गढ़वाला एवं मोतीगढ़ में प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र भवन निर्माण की स्वीकृतियां जारी की गई हैं। प्रत्येक भवन के निर्माण पर 159 लाख रुपये लागत आएगी।
दिसम्बर 2023 से अब तक कुल 8 नए शहरी आयुष्मान आरोग्य मंदिर क्रमशः बंगलानगर, अम्बेडकर कॉलोनी, जेएनवी कॉलोनी, बजरंग धोरा, कैलाशपुरी, करमीसर, स्वामी केशवानन्द कृषि विश्वविद्यालय, एवं खतूरिया कॉलोनी में प्रारम्भ किए गए हैं। समस्त स्वास्थ्य केंद्रों का आवश्यक, मशीनों, उपकरण व साजो समान सहित विस्तार किया जा रहा है।
स्वास्थ्य सेवा विस्तार के क्रम में सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र खाजूवाला, लूणकरणसर एवं बज्जू को उपजिला चिकित्सालय में क्रमोन्नत किया गया है। यहां विशेषज्ञ सेवाएं और ऑपरेशन जैसी उच्च स्तरीय सेवाएं मजबूत होगी।
*गुणवत्ता पर विशेष जोर*
राष्ट्रीय गुणवता आश्वासन कार्यक्रम के तहत शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र नं. 5, शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र नं.6, प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र बिग्गा, ऊपनी, सारूण्डा, राणेर दामोलाई, केसरदेसर जाटान, पलाना एवं उप स्वास्थ्य केन्द्र 34 के.वाई.डी एवं रिडमलसर पुरोहितान को क्वालिफाई किया जा चुका है। जिसके परिणाम स्वरुप इन सभी अस्पतालों को प्रतिवर्ष 3 लाख रुपए की दर से 3 साल तक कुल 9 लाख रुपए उत्तरोत्तर विकास के लिए पुरस्कार स्वरूप प्राप्त होंगे।
*स्टाफ की कमी हुई दूर*
राज्य सरकार ने नई भर्तियां व नियुक्तियां देकर न केवल युवाओं को रोजगार दिया है बल्कि अस्पतालों में व्याप्त मानव संसाधन की कमी को भी दूर किया है। दिसम्बर 2023 से अब तक 104 एएनएम, 91 प्रयोगशाला सहायक, 16 सहायक रेडियोग्राफर, 10 नेत्र सहायक एवं 1 दन्त तकनीशियन की नियुक्ति की गई हैं। इसके अतिरिक्त यूटीबी पर 33 चिकित्सकों की नियुक्ति दी गई हैं। हाल ही में पूर्ण हुई नर्सिंग अधिकारियों की भर्ती में भी जिले को बड़ी संख्या में स्टाफ मिलने की उम्मीद है। आज जिले की अस्पतालों में पर्याप्त संख्या में चिकित्सक, नर्सिंग और पैरामेडिकल स्टाफ तैनात हैं। जिससे संक्रामक रोगों का बेहतर सर्विलांस और गैर संचारी रोगों पर पुख्ता नियंत्रण संभव हो पा रहा है।

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