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बीकानेर,इस बार इंदिरा गांधी नहर 65 दिन बंद रहेगी। मरम्मत के लिए बंद इस नहर से निपटने के लिए बीकानेर में तैयारियां तेज हो गई हैं। संभागायुक्त सभी जल भंडार भरने के साथ ही पानी की चोरी रोकने के लिए सख्त कदम उठाने के मूड में हैं.

नहर बंद रहने के दौरान पेयजल आपूर्ति सुचारू रखने के लिए संभागायुक्त ने जिले के सभी जलाशयों को चिन्हित कर समय पर पूरी तरह से भरने के निर्देश दिए हैं. संभागायुक्त ने नहरीकरण की तैयारियों की समीक्षा बैठक में यह निर्देश दिये. कृषि विभाग, सी.ए.डी. एवं सिंचाई विभाग द्वारा जल संग्रहण हेतु निर्मित तालाबों को वैकल्पिक पेयजल भण्डारण के रूप में रखा जाये तथा आवश्यकता पड़ने पर निजी डिगों एवं तालाबों में भी जल संचयन हेतु उपयोग किया जाये। उन्होंने पुलिस को पानी चोरी की घटनाओं को रोकने के लिए निर्धारित स्थानों पर अतिरिक्त समन्वय करने के निर्देश देते हुए कहा कि पानी चोरी की घटना पर कानूनी कार्रवाई की जाए. संभाग के जिलों के जल का अन्य जिलों द्वारा उपयोग किये जाने के संबंध में संबंधित जिलों के अधिकारियों से चर्चा कर किसी भी प्रकार की आपात स्थिति से निपटने की तैयारी पहले से कर ली जाये. संभागायुक्त नीरज के पवन ने कहा कि पेयजल की आवश्यकता के अनुरूप परिवहन की व्यवस्था की जाए ताकि आमजन को पेयजल को लेकर कोई परेशानी न हो.पेयजल भण्डारण, फिल्टर की स्थिति एवं पेयजल वितरण व्यवस्था का समुचित निरीक्षण कर सतत पर्यवेक्षण की व्यवस्था की जाये।

पंजाब 65 दिनों के लिए नहर बंद करना चाहता है क्योंकि पंजाब की सीमा में 35 किमी से अधिक नहर की मरम्मत की जानी है लेकिन राजस्थान 60 दिनों के लिए ऐसा करना चाहता है।

इसलिए अपर मुख्य सचिव ने पंजाब को पत्र भेजा है तो पंजाब के न मानने पर भी राजस्थान में पूरी तरह से नहर बंद 30 दिनों के लिए ही होगी क्योंकि आईजीएनपी ने इसके लिए प्लान बी तैयार कर मुख्य सचिव को भेजा है.

दरअसल, अप्रैल और मई में भीषण गर्मी के कारण पानी की खपत ज्यादा होती है। इसलिए राजस्थान 60 दिन से ज्यादा नहर बंद नहीं चाहता है। इसके अलावा यह चुनावी साल भी है। इसलिए जल संसाधन विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव ने पंजाब के मुख्य सचिव को पत्र लिखकर 60 नहरीकरण की मांग की है. जिसमें 30 दिन पूर्ण व 30 दिन आंशिक नहरबंदी है।

उम्मीद है कि पंजाब राजी हो जाएगा, लेकिन अगर पंजाब नहीं माना तो आईजीएनपी ने मुख्य सचिव को एक और विकल्प दिया है कि अगर पंजाब 65 दिन भी नहरबंदी करता है तो भी पूरी नहरबंदी 30 दिन और आंशिक 35 दिन रहेगी। आंशिक नहरबंदी में सभी जिलों को पेयजल दिया जाएगा। क्योंकि पंजाब को नहर की लाइनिंग ठीक करनी है और अगर 30 के बजाय 35 दिन आंशिक रूप से नहर को बंद किया जाता है तो मरम्मत पर कोई असर नहीं पड़ेगा क्योंकि 18 हजार क्यूसेक की नहर में 2200 क्यूसेक पानी बहता रहेगा. नीचे और मरम्मत प्रभावित नहीं होगी। कुल मिलाकर राजस्थान के नहर अभियंता किसी भी सूरत में 30 दिन से ज्यादा पूर्ण नहर बंद करने को तैयार नहीं है।

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