Trending Now


 

 

बीकानेर,शहर के साले की होली स्थित रामदेव मंडल सेवा समिति की ओर से विगत 53 सालों से रामदेवरा पद यात्रियों की सेवा जारी है। सोमवार को रामदेवरा पदयात्रा के लिए सेवा का अंतिम जत्था रवाना हुआ। भाटोलाई तलाई के पास बाबा रामदेव मन्दिर में ज्योत करके बाबे के जयकारों के साथ जत्था रवाना किया गया।

इस दौरान समाजसेवी राजेश चुरा, समाजसेवी शशि मोहन मूंधड़ा, राजेंद्र पुरोहित, डॉक्टर किशन आसोपा तथा नया शहर थाना अधिकारी विक्रम तिवारी ने शामिल दो ट्रकों को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया।

इस अवसर पर रामदेव मंडल सेवा समिति का परिचय देते हुए राजेंद्र कुमार पुरोहित ने बताया कि यह संस्था 1972 से आज दिन तक जारी है। वर्ष 1972 में झंवरलाल जी के सानिध्य में इस संस्था ने रामदेवरा पद यात्रियों के लिए सेवा शुरू की थी। यह संस्था गांव चानी, गांव कुंडिया, गांव बड़ी शीढ, बुधलाई तलाई व गांव डाली बाई में अपने शिविर लगाती है।राजेंद्र पुरोहित ने बताया कि साले की होली बीकानेर स्थित श्री रामदेव मंडल सेवा समिति 1972 से ऐसे लोगों की सेवा करती है जो सबसे अंत में रामदेवरा के लिए पैदल रवाना होते हैं। हालांकि कई सेवा संघ 10 दिन पहले ही पदयात्रा की सेवा के लिए जा चुके हैं मगर यह संस्था उन यात्रियों की सेवा करती है जो सबसे अंत में रामदेवरा के लिए पैदल रवाना हुए हैं।

समाजसेवी राजेश चुरा ने कहा कि बहुत खुशी की बात है कि 53 सालों से यह संस्था लगातार पदयात्रियों की सेवा कर रही है। इसमें हमारा जो भी सहयोग बनेगा वह दिया जाएगा। बाबा की कृपा से सेवा निरंतर चलती रहे यही मंगल कामना करता हूं। समाज सेवी शशि मोहन मूंधड़ा ने कहा कि वह अभी हाल ही में इस संस्था से जुड़े हैं और इस संस्था के सेवा कार्य अंतिम दौर में चल रहे पैदल यात्रियों के लिए बहुत फायदेमंद रहते हैं। यह सच्ची सेवा है।

मेलार्थी अपनी संपत्तियों का भी रखे ख्याल- विक्रम तिवारी

नया शहर थाना अधिकारी विक्रम तिवारी ने कहा कि अभी मेलों का दौर चल रहा है इसलिए मेलार्थी अपने संपत्तियों का ख्याल रखें। घर व आभूषणों को खुला ना छोड़े क्योंकि चोरियां बढ़ रही है। कार्यक्रम का संचालन नेशनल काउंसलर डॉ चंद्रशेखर श्रीमाली ने किया। अंत में संस्था के अध्यक्ष नंदकिशोर व सचिव श्री वल्लभ छंगाणी ने सभी का आभार जताया।

ये रहे मौजूद

कार्यक्रम में विट्ठल हर्ष, राकेश हर्ष, शांति प्रसाद बिस्सा, देवकीनंदन पुरोहित, सुरेंद्र सारस्वत, ओमप्रकाश पुरोहित, द्वारका दास, सोहनलाल, मेघराज, मांगीलाल, पार्षद दुलीचंद सेवग सहित विक्की पुरोहित आदि मौजूद थे।

Author