बीकानेर,कोटा,इंजीनियरिंग पाठ्यक्रम की एयरोनॉटिकल ब्रांच में प्रवेश लेने वाले विद्यार्थियों के लिए तकनीकी शिक्षा उच्च मानको व शैक्षिक गुणवत्ता के निर्धारण के लिए कुलपति प्रो. एसके सिंह के निर्देशन में हाल ही में नेशनल बोर्ड ऑफ एक्रेडिएशन (एनबीए) दुवारा राजस्थान राजस्थान तकनीकी विश्वविद्यालय की एयरोनॉटिकल ब्रांच का एनबीए एक्रेडिटीशन निरीक्षण संपन्न हुआ हैं। सहायक जनसंपर्क अधिकारी विक्रम राठौड़ ने जानकारी प्रदान करते हुए बताया कि एनआईटी, सूरत के निदेशक प्रो. अनुपम शुक्ला की अध्यक्षता में गठित 3 सदस्य समिति ने एनबीए निरीक्षण के दौरान विभिन्न निर्धारित मापदंडों के अनुसार समिति नें विस्तृत जाँच की। इस विशेषज्ञ समिति में आईआईटी खड़गपुर के प्रो. सिंहमा पात्रा एवं पंजाब इंजीनियरिंग कॉलेज से प्रो. टीके जिंदल भी सम्मिलित थे। इस अवसर पर संयोजक डीन फैकल्टी प्रो. ए के द्विवेदी व प्रो. राठौड़ ने निरीक्षण समिति का आभार प्रकट किया।
एनबीए विशेषज्ञों की टीम नें विश्वविद्यालय का दौराकर एयरोनॉटिकल विभाग का विभिन्न मापदंडों जैसे ऑनलाइन संवाद, शिक्षण पद्धति का फीडबैक,शिक्षण क्वालिटी, विद्यार्थियों और अभिभावकों से संवाद,स्टूडेंट प्रोजेक्टस अकादमिक स्तर, लैब, वर्कशाप, लाइब्रेरी, रिसर्च,इंफ्रास्ट्रक्चर, खेल सुविधा, छात्रावास, कैंटीन उपलब्धता, विद्यार्थी से संबंधित सुविधाए, परीक्षा परिणाम, शैक्षणिक उत्कृष्टता एवं योग्यता, स्टाफ, शैक्षणिक गैर शैक्षणिक गतिविधियाँ, अकादमिक नवाचार व सामाजिक योगदान, संस्थान स्तर पर लघु तथा दीर्घ कार्य योजना, वित्तीय संसाधनो की वर्तमान स्थति, रैंकिंग प्रदर्शन सहित कई अन्य महत्वपूर्ण पहलुओ और विभिन्न मानदंडों पर विषय विशेषज्ञों दुवारा विश्विद्यालय का कठोर मूल्यांकन और आंकलन किया गया।समिति ने एयरो डायनानामिक लैब में सबसोनिक विंड टनल, एयरक्राफ्ट लैब, कोंपोसाईट लैब,एवीयोनिक्स लैब का भी निरीक्षण किया।
विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. एसके सिंह ने कहा कि राष्ट्रीय शिक्षा निति व वर्तमान शैक्षिक परिदृश्य के अनुरूप तकनीकी पाठ्यक्रमो का गुणवत्ता निर्धारित करना आवश्यक हैं, ताकि इन ब्रांचों से पासआउट होने वाले विधार्थियों को अधिक से अच्छे और शीघ्र रोजगार के श्रेष्ठतम अवसर प्राप्त हो सके। यह एक्रीडिटेशन विधार्थियों में इंजीनियरिंग पाठ्यक्रमो के चयन को लेकर राजस्थान तकनीकी विश्विद्यालय उनकी प्राथमिकता के रूप मे विकसित होगा। उन्होंने आशा व्यक्त हैं कि इससे बेहतर तकनीकी मानव संसाधन उपलब्ध हो सकेंगे,परिणामस्वरूप रोजगार के नए अवसर प्राप्त होंगे और विधार्थी लाभान्वित होंगे। रैंकिंग की इस विश्वसनीय प्रणाली विधार्थियों के विश्वास की अवधारणा विकसित होगी। आज के युग में शैक्षणिक संस्थानों मानदंडीकरण के महत्व में वृद्धि हुई हैं। योग्यता निर्धारण किसी भी शैक्षणिक संस्थान की गुणवत्ता कसौटी होते हैं इसलिये प्रत्यायन महत्वपूर्ण हो जाता है। एनबीए एक्रेडिटेशन द्वारा विश्वविद्यालयों में तकनीकी शिक्षा में उत्कृष्टता को बढ़ावा देना और पहचानना ही हमारा मुख्य उदेश्य हैं।
गौरतलब है की आरटीयू कोटा में वर्तमान में बीटेक की सात ब्रांचे जून 2024 तक एनबीए से मान्यता प्राप्त है- मैकेनिकल, सिविल, कंप्यूटर साइंस एंड इंजीनियरिंग, इंफॉर्मेशन टेक्नोलॉजी, इलेक्ट्रॉनिक्स एंड कम्युनिकेशन, इलेक्ट्रॉनिक्स इंस्ट्रूमेंटेशन एंड कंट्रोल, प्रोडक्शन एंड इंडस्ट्रियल इंजीनियरिंग।