बीकानेर,भाजपा के केंद्रीय नेतृत्व ने राजस्थान में चुनाव की कमान हाथ में रखने के लिए राज्य के नेताओं को छोड़ कर सांसदों औ राजस्थान से केंद्रीय मंत्रियों की नई टीम बनाई है। इसमें केंद्रीय मंत्री अर्जुन राम को चुनाव के मद्देनजर प्रमोट करके विधि मंत्री बनाया गया तथा राजस्थान में चुनाव कमेटियों में प्रमुखता से स्थान दिया गया। सांसद सी पी जोशी को भी प्रदेशाध्यक्ष बनाकर कमान केंद्रीय नेतृत्व ने अपने हाथ में रखी। जल संसाधन मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत भी केंद्रीय नेतृत्व के निर्देशों पर प्रदेश के नेताओं को दर किनार कर काम कर रहे हैं। राजस्थान चुनाव की पूरी कमान भाजपा के केंद्रीय नेतृत्व के हाथ में है। जैसा कि अर्जुन राम मेघवाल के समर्थक दावा करते हैं कि मेघवाल पीएम मोदी के बहुत करीबी है — अगर यह बात सही है तो राजस्थान की राजनीति को लेकर मेघवाल का केंद्रीय नेताओं और मोदी को दिए जा रहे सुझावों से भाजपा को नुकसान ही हो रहा है। मेघवाल में पॉलिटिकल स्किल का नितांत अभाव है। वे मोदी के नाम पर ही चुनाव जीते हैं। अपने लोकसभा क्षेत्र के कई विधायकों, संगठन के कुछ पदाधिकारियों और क्षेत्र के नेताओं के साथ उनके राजनीतिक कटुता वाले संबंध जग जाहिर है। वे खुद वसुंधरा राजे के खिलाफ गुट में शामिल होकर अपनी राजनीति चमका रहे हैं। यह कटु सत्य है कि अर्जुन राम मेघवाल में पॉलिटिकल स्किल नहीं है। वे पॉलिटिकल मैनेजर जरूर हो सकते हैं। अगर मेघवाल की राय से प्रधानमंत्री या केंद्रीय नेतृत्व कोई निर्णय ले रहे होंगे तो अभी हो रहे निर्णय भाजपा को गर्त में डालने वाले ही साबित हो रहे हैं। राजस्थान में किन्हीं कारणों से भाजपा को अगर नुकसान होता है तो 2024 में लोकसभा चुनाव भाजपा के लिए भारी पड़ सकता है। केंद्रीय नेतृत्व की ओर से जारी राजस्थान में प्रत्याशियों की पहली सूची के बाद पार्टी के भीतर मचा बवाल इस बात का प्रमाण है कि भाजपा में निर्णय सबको साथ लेकर नहीं किया जा रहा है, बल्कि सोची समझी व्यूह रचना के तहत निहित उद्देश्य को लेकर राजस्थान में केंद्रीय नेता भाजपा के चुनावी निर्णय कर रहे है। यह पार्टी में सक्रिय प्रभावी धड़े के खिलाफ है। ऐसी राय कोन दे रहा है? क्या वे राजनीति के धरातल के सच को भी समझ पा रहे हैं या आकाओं की जी हजूरी में पार्टी को गर्त में डालने का काम कर रहे हैं। अर्जुन राम मेघवाल, गजेंद्र सिंह शेखावत की भूमिका से राजस्थान में भाजपा को फायदा होता दिखाई नहीं दे रहा है। मोदी, नढ्ढा और शाह अपनी बनाई इस नई टीम की राय पर पुनर्विचार कर लें। अन्यथा भाजपा के इन केंद्रीय नेताओं की साख पर बट्टा लग सकता है।
Trending Now
- चोरी की वारदात का खुलासा आरोपी गिरफ़्तार
- डॉ.टैस्सीटोरी की पुण्यतिथि पर दो दिवसीय ओळू समारोह 22 व 23 को
- कार्तिक पूर्णिमा के अवसर पर बजरंग धोरा धाम में भक्तो ने किया दीपोत्सव
- 50 लाख की फिरौती मांगने वाले बदमाश को पुलिस ने पुणे से किया गिरफ्तार
- सामाजिक कार्यकर्ता रामेश्वरलाल बिश्नोई ने सोनी से की मुलाकात
- विधायक सारस्वत ने सरदारशहर में प्रधानमंत्री मोदी की मन की बात कार्यक्रम को सुना
- रेसटा की जिला कार्यकारिणी में सीताराम डूडी जिलाध्यक्ष व पवन शर्मा दूसरी बार निर्वाचित हुए जिला महामंत्री
- मिशन सरहद संवाद जिला कलेक्टर ने खाजूवाला के 14 बीडी और 20 बीडी में ग्रामीणों से किया संवाद
- लक्ष्मीनाथ जी मंदिर में दीपावली 1 नवंबर को मनाई जाएगी
- प्रमुख पंडि़तों व बुद्धिजीवियों की बैठक,एक नवम्बर को ही दीपावली मनाने पर सर्वसम्मति फैसला
- महावीर इंटरनेशनल वीरा कांफ्रेंस अमुधा दुबई में
- लावारिस हालात में मिला पीबीएम में कराया युवक को भर्ती
- गृह राज्य मंत्री बेढम से मिले विधायक,रोजगार मेले की दी जानकारी
- संयुक्त निदेशक स्कूल शिक्षा,बीकानेर के पद पर गोविंद माली ने किया पदभार ग्रहण,रेसटा ने किया बहुमान
- सामूहिक रूप से एक परिवार ने जहर खायां,तीन सदस्यों की हुई मौत,वहीं एक का गंभीर हालत में चल रहा है ईलाज