बीकानेर,शास्त्री नगर स्थित आरएलजी संस्थान द्वारा विगत सात दिवस से संचालित बच्चों के लिए निःशुल्क संस्कार शिविर का समापन कार्यक्रम आयोजित किया गया|
कार्यक्रम का आगाज नवनीत सारस्वत, विनय हर्ष, डॉ राकेश रावत, कौशलेश गोस्वामी व रोहिताश बाहरी द्वारा दीप प्रज्वलन कर किया गया|
संस्थान अध्यक्ष डॉ. अर्पिता गुप्ता ने बताया की हमारे संस्कार ही हमें जीवन जीने का तरीका सिखाते| शिविर में बच्चों को संस्कारो के महत्व के साथ उनकी रचनात्मकता व क्रियात्मकता बढ़ाने हेतु अन्य कई कक्षाओं का भी आयोजन किया गया| जिसमें श्लोक उच्चारण डॉ. कपिला स्वामी, कुकिंग प्रियंका सिंह, आर्ट एंड क्राफ्ट नेहा सिंघल, चित्रकला कविता रांका,कढ़ाई प्रवीण शर्मा,वैदिक मैथ्स आरती राठौड व हैंडराइटिंग शैली दुग्गल द्वारा सिखाई गई|
अतिथि नवनीत सारस्वत ने कहा बच्चों को संस्कार दिए बिना सुविधा देना पतन का कारण बन सकता है|
विनय हर्ष ने कहा बड़ा बनो पर उनके सामने नहीं जिसने तुम्हें बड़ा किया इसलिए माता पिता का हमेशा सम्मान करें|
कार्यक्रम में बच्चों ने मधुर भजन गाए, मनमोहक नृत्य,श्लोक व कविता प्रस्तुत करी |
डॉ राकेश रावत ने कहा संस्कार का अर्थ शुद्धीकरण, जो तन मन को शुद्ध करें वह संस्कार है| कौशलेश गोस्वामी ने संस्थान द्वारा आयोजित इस शिविर की सराहना करते हुए कहा कि इस तरह के शिविर आज की पीढ़ी के बहुमुखी विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं|
शिविर में आयोजित श्लोक प्रतियोगिता में मैत्री जैन प्रथम मैत्री कोठारी द्वितीय भूमिका काबरा तृतीय साक्षी चौहान को सांत्वना पुरस्कार से पुरस्कृत किया गया|
संस्थान द्वारा सभी बच्चों को स्टेशनरी किट, कॉपी, बिस्किट, जूस के पैकेट वितरित किए गए|
कार्यक्रम को सफल बनाने में राजेश गुप्ता, ज्योत्सना रावत, डॉ. पूजा अग्रवाल,तनवीर हुसैन लखानी, जय सिंह, डॉ पुष्पा शर्मा, मनीता जैन, श्वेता कोठारी, वीना शर्मा, रतन गुप्ता की महत्वपूर्ण भूमिका रही|