बीकानेर,गैंगस्टर रोहित गोदारा का खास गुर्गा एवं गंगाशहर थाने का हिस्ट्रीशीटर हरिओम रामावत अब एक साल तक जेल की सलाखों के पीछे रहेगा। जिला पुलिस ने उसे पिछले दिनों राजपासा एक्ट में निरुद्ध कर बीकानेर केन्द्रीय कारागार भिजवाया था। पुलिस की इस कार्रवाई पर राजस्थान उच्च न्यायालय की सलाहकार समिति ने गुरुवार को अंतिम मुहर लगा दी है।पुलिस अधीक्षक तेजस्वनी गौतम ने यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि हरिओम पर लूट डकैती, हत्या के प्रयास फिरौती मांगने जैसे 15 संगीन प्रकरण दर्ज हैं। हरिओम की राजू ठेहट एवं सिद्धू मूसेवाला हत्याकांड के आरोपियों से निजी दोस्ती रही है। जयपुर के प्रकरण में भी वांछित था। गौरतलब है कि बीकानेर रेंज में गुंडा एक्ट में 400 इस्तगासे पेश कर 23 बदमाशों को जिलाबदर कराया जा चुका है।
वर्षों बाद कोई बदमाश राजपासा में बंद
जिला पुलिस के अनुसार, वर्ष 2016 में हिस्ट्रीशीटर सलमान भुट्टो के खिलाफ राजपासा में निरुद्ध करने की कार्रवाई की गई लेकिन हाईकोर्ट से अनुमति नहीं मिली। बाद में भी राजपासा में कार्रवाई के लिए इस्तगासे पेश किए गए, लेकिन अनुमति नहीं मिली थी। पुलिस अधीक्षक ने बताया कि अब 20 साल बाद आदतन अपराधी हरिओम रामावत को राजपासा में बंद किया गया है।
राजपासा एक्ट में इतने इस्तगासे
पुलिस विभाग के आंकड़ों के मुताबिक वर्ष 2022 में चूरू में तीन बदमाशों के खिलाफ राजपासा एक्ट में इस्तगासे पेश किए गए। वर्ष 2023 में बीकानेर में दो, श्रीगंगानगर में एक, हनुमानगढ़ में चार, एवं चूरू में दो बदमाशों पर इस्तगासे जिला कलक्टर के समक्ष पेश किए हैं, जो विचाराधीन हैं। इनमें से बीकानेर में एक इस्तगासे पर कार्रवाई हुई है।