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बीकानेर,जैन श्वेताम्बर खरतरगच्छ के आचार्य जिन पीयूष सागर सूरीश्वरजी आचार्यश्री व साध्वीवृंद के सान्निध्य में सुप्रसिद्ध विधिकारक शासन रत्न मनोज कुमार बाबूलाल हरण के नेतृत्व में गुरुवार शिवबाड़ी के श्री गंगेश्वर पार्श्वनाथ मंदिर अंजनशलाका व प्रतिष्ठा महोत्सव के पांच दिवसीय धार्मिक विधान व अनुष्ठान शुरू हुए।
श्री जैन श्वेताम्बर खरतरगच्छ संघ, श्री सुगनजी महाराज का उपासरा ट्रस्ट, श्री पार्श्वनाथ जिन मंदिर जीर्णोंद्धार समिति व अंजनशलाका प्रतिष्ठा महोत्सव समिति व जिनेश्वर युवक परिषद के संयुक्त आयोजित महोत्सव में गुरुवार को मंदिर में प्रतिष्ठित होने वाली प्रतिमाओं की गाजे बाजे से शोभायात्रा निकली । शोभायात्रा में मुनि व साध्वीवृंद के साथ बड़ी संख्या में श्रावक-श्राविकाएं शामिल हुई। प्रतिमाओं को रथ पर आरु़ढ़ किया हुआ था। बैंड पार्टी, घाणेराव की ढोल पार्टी व शहनाई पार्टी नवंकार महामंत्र की धुनें बजा रहीं थी। अनेक श्रावक-श्राविकाएं नृत्य करते हुए देव,गुरु व धर्म का जयकारा लगा रहे थे। गंगेश्वर पार्श्वनाथ मंदिर पहुंचनें पर मंगल गंवली के माध्यम से परमात्माओं की प्रतिमाओं आचार्यश्री, मुनिवृंद व साध्वीवृंद का अभिनंदन किया गया।
श्री सुगनजी महाराज का उपासरा ट्रस्ट के मंत्री रतन लाल नाहटा ने बताया कि गुरुवार को श्री नंद्यावर्त पूजा, मंडप में मंगल तोरण बांधना, श्री क्षेत्रपाल पूजन, श्री लघु सिद्धचक्र पूजन, श्री 19 विद्यादेवी पूजन, श्री भैरव पूजन, श्री लघु वीस स्थानक पूजन, श्री पार्श्वनाथ पंच कल्याणक पूजन, दोपहर को च्यवन कल्याणक उजवणी का और शाम को प्रभु भक्ति का आयोजन हुआ । पूजन में स्वयं आचार्यश्री पीयूष सागर सूरीश्वरजी के नेतृत्व में मुनि व साध्वीवृंद मंत्रोच्चारण कर रहे थे। पूजा के प्रसंगानुसार भक्ति गीत गाए जा रहे थे।
प्रतिमाएं जो प्रतिष्ठित की जाएगी
श्री जिनेश्वर युवक परिषद के अध्यक्ष संदीप मुसरफ व मंत्री मनीष नाहटा ने बताया कि सात गुम्बज के सफेद संगमरमर के मूलनायक श्री भगवान गंगेश्वर पार्श्वनाथ के मंदिर में मुख्य गर्भगृह में प्रतिमा के दोनों ओर, गृभगृह के बाहरी मंदिरों में परिकर के साथ जिन प्रतिमाओं को स्थापित किया जाएगा। मंदिर में भगवान आदिनाथ, भगवान महावीर स्वामी की 27 इंच की सफेद संगमरमर की, श्री शंखेश्वर पार्श्वनाथ श्री नाकोड़ा पार्श्वनाथ की 21 इंच की फण सहित प्रतिमा, अनंत लब्धि निधान गणधर श्री गौतम स्वामी, मणिधारी दादा श्री जिन चन्द्र सूरीजी, नाकोड़ा भैरव, श्री पद्मावती माता की 21-21 इंच की, अंजन के लिए भगवान पार्श्वनाथ की 9 इंची, श्री शांतिनाथ पंचतीर्थी, श्री सिद्धचक्र यंत्र, श्री अष्ट मंगल पाटली (पंच धातू) , जिनालय के लिए 15 प्रतिमाओं की प्रतिष्ठा व अंजनशलाका का विधान किया जा रहा है। मंगल मूर्तियों में गणधर गौतम स्वामी, दादा जिन चन्द्र सूरी नाकोड़ा भैरव, देवी पद्मावती की शामिल है।
अंजनशलाका प्रतिष्ठा महोत्सव समिति के संयोजक पवन कुमार बोथरा, गणेश बोथरा, पवन पारख, महावीर सिंह खजांची व मनोज सेठिया ने बताया कि सात शिखर वाले मंदिर के पीछे गणधर गौतम स्वामी दादाबाड़ी का भी निर्माण करवाया गया है। दादाबाड़ी की भी प्रतिष्ठा प्रतिमाओं के साथ हो रही है। मंदिर में रत्न स्तम्भ, स्वर्ण स्तम्भ व रजत स्तम्भ स्थापित किए जा रहे है।
आज का कार्यक्रम
शुक्रवार को सुबह भगवान श्री पार्श्वनाथ का जन्म कल्याणक उजवणी, 56 दिक्कुमारी का महोत्सव, मेरुपर्वत पर 250 अभिषेक, 18 अभिषेक, दोपहर जन्म बधाई, भगवान की भुआजी का आगमन एवं नामकरण, पाठशाला गमन, मायरा, लग्न, राज्याभिषेक, 9 लोकांतिक देवों द्वारा विनती,गांव सांक्षी व मेहंदी वितरण, गणधर श्री गौतम स्वामी, दादा गुरुदेव, ध्वज दंड, सुवर्ण कलश अभिषेक, प्रासाद (शिखर), मंगल मूर्ति मूर्तियों का अभिषेक होगा। शाम को आंगी रोशनी एवं प्रभु भक्ति होगी। जिसमें रायपुर के कलाकार अंकित लोढ़ा को आमंत्रित किया ।
श्रावक-श्राविकाओं के लिए वाहन व साधर्मिक वात्सल्य
गंगाशहर भीनासर बीकानेर से प्रतिष्ठा व अंजनशलाका महोत्सव में शामिल होने वाले श्रावक-श्राविकाओं के लिए सुबह पांच बजे से गंगाशहर गोल मंदिर, बीकानेर के ढढ्ढा चौक से वाहन की व्यवस्था की गई है, शिवबाड़ी के लालेश्वर महादेव मंदिर व आस पास के स्थानों में आवास, नवकारसी, नाश्ता व साधर्मिक भक्ति की व्यवस्था की गई है।

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