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बीकानेर,इंदिरा गांधी नहर में रखरखाव के चलते आज से 19 मई तक साठ दिन की नहर बंदी के चलते बीकानेर सहित पश्चिमी राजस्थान के आधा दर्जन जिलों में पेयजल संकट खड़ा हो सकता है। एक महीने तक नहर में पीने का पानी आएगा लेकिन एक महीने बाद वो भी बंद हो जाएगा, ऐसे में पहले से रखे पानी का ही वितरण होगा। नहर विभाग और जलदाय विभाग के अधिकारी इस संकट से उबरने के लिए तैयारी कर रहे हैं। न सिर्फ बीकानेर बल्कि हनुमानगढ़, श्रीगंगानगर, जैसलमेर व बाड़मेर तक पेयजल का संकट खड़ा हो सकता है।

दरअसल, इंदिरा गांधी नहर परियोजना की ओर से आज से 19 मई तक नहरबंदी प्रस्तावित है। इस दौरान पेयजल वितरण की प्रभावी व्यवस्था की जाएगी। जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग के अधीक्षण अभियंता बलवीर सिंह ने बताया कि नहरबंदी के प्रथम 30 दिनों तक कम मात्रा में नहरी जल प्रवाह होगा। शेष दिनों में नहरों के माध्यम से पेयजल उपलब्ध नहीं होने के कारण जलयोजनाओं पर उपलब्ध पानी को ही शेष नहरबंदी की अवधि में वितरण किया जाना है।

इस कारण जिले की सभी नहरी जल आधारित ग्रामीण योजनाओं की सप्लाई में कटौती कर जल वितरण किया जाएगा एवं बीकानेर शहर के उपभोक्ताओं को 21 अप्रैल से 19 मई तक एक दिवस के अन्तराल से जल उपलब्ध करवाया जाना संभव होगा। पिछली बार नहर बंदी में भी ऐसा ही किया गया था, जिससे शहरी क्षेत्र में भारी जल संकट खड़ा हो जाएगा। नहरबंदी के दौरान पेयजल व्यवस्था सुचारू रखने हेतु जिला कलक्टर द्वारा उपखण्ड अधिकारी की अध्यक्षता में रेपिड रेस्पॉन्स टीम का गठन किया गया है। इसमें संबंधित सहायक अभियंता, और तहसीलदार सदस्य होंगे। इनके द्वारा पेयजल व्यवस्था की नियमित समीक्षा की जाएगी एवं समस्याओं के तत्काल निस्तारण की कार्यवाही की जाएगी। अधीक्षण अभियंता ने शहरी एवं ग्रामीण क्षेत्र के उपभोक्ताओं से नहरबंदी एवं गर्मी के दौरान जल का मितव्ययता से उपयोग करने व यथासंभव जल संग्रहण का आह्वान किया है। पेयजल संबंधी किसी समस्या के समाधान के लिए जिला स्तरीय नियंत्रण कक्ष में संपर्क कर 0151-2226454 किया जा सकता है।

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