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बीकानेर,कार्य करने का असली आनंद तभी मिलता है जब सारा संसार उस कार्य को नहीं करने की सलाह दे और आप अपने जोश, जुनून और काबिलियत के दम पर मंजिल को हासिल कर लेवें. ये विचार मैनेजमेंट ट्रेनर डॉ. गौरव बिस्सा ने जय नारायण व्यास कॉलोनी स्थित आरएसवी हायर सेकेंडरी स्कूल द्वारा आयोजित तीन दिवसीय कार्यशाला “ड्रीम, डेवलप, डू” के उदघाटन सत्र में बतौर मुख्य वक्ता और ट्रेनर व्यक्त किये. विद्यार्थियों को डॉ. बिस्सा ने आत्मानुशासन की ताकत, नियम पालन को फैशन बनाने, खुद की शक्ति से कार्य करने और राष्ट्रप्रेम को जीने के सूत्र समझाए. डॉ. बिस्सा ने अनेक रोचक मैनेजमेंट गेम्स और डेमोंस्ट्रेशंस के साथ समझाया कि अनिश्चितता से बचने की प्रवृत्ति धीरे धीरे व्यक्ति में भय भर देती है और चेंज लाने के लिए भय का मिटना ज़रूरी है. जीरो डिफेक्ट रूल की चर्चा करते हुए बिस्सा ने कहा कि कार्य में एक फीसदी गलती भी घातक है. यदि अस्पताल, अध्यापक, पुलिस या जेल सिर्फ एक फीसदी एरर या गलती कर दें तो परिणाम कितना भयावह होगा इसलिए अपने कार्य में पूर्ण निष्ठा और जीरो डिफेक्ट ज़रूरी है.
प्राचार्य निधि स्वामी ने कहा कि व्यक्ति का एटिट्यूड सबसे ज़्यादा संक्रामक होता है और सामने वाले के लिए आपका जो एटिट्यूड है, वो तुरंत नजर आता है. उन्होंने कहा कि नेगेटिव एटिट्यूड अर्थात नकारात्मक भावनाएं, घृणित बातें और बुरी सोच के प्रसार को रोकना आवश्यक है. प्राचार्य निधि स्वामी ने स्कूल जाने के महत्त्व को रेखांकित करते हुए कहा कि हमउम्र बच्चों के साथ जीना, उनके साथ खेलना, खेल की हार जीत, अनुशासन, बात करने की कला, एडजस्ट होने के गुण आदि सिर्फ स्कूल जाकर ही सीखे जा सकते हैं अतः स्कूल का विद्यार्थी की ग्रोथ में सर्वोच्च स्थान है.
सीईओ आदित्य स्वामी ने आरएसवी शिक्षण समूह की यात्रा, स्पोर्ट्स और एक्टिविटीज़, लैब्स तथा नवाचारों की जानकारी दी. स्वामी ने फ्यूचर ऑफ़ आरएसवी पर प्रकाश डालते हुए विद्यार्थी के सर्वांगीण विकास के महत्त्व को समझाया.
कार्यक्रम संयोजक नीरज श्रीवास्तव ने कार्यशाला की रूपरेखा, वर्तमान समय में सॉफ्ट स्किल्स की महत्ता और विद्यार्थियों में रोजगारपरक शिक्षा व्यवस्था पर रिसर्च बेस्ड प्रस्तुतीकरण दिया. संचालन और आभार ज्ञापन ऋतु शर्मा ने किया. इस अवसर पर वरिष्ठ संकाय सदस्य डॉ. पुनीत चोपड़ा भी उपस्थित थे.

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