बीकानेर जिले में हुई भारी बारिश के बाद डेंगू ने अपने पांव पसारने शुरू कर दिए हैं. पिछली बार डेंगू के बड़ी संख्या में हुए मरीजों को देखते हुए स्वास्थ्य विभाग अलर्ट हो गया है.इस सीजन में डेंगू के पेशेंट आने शुरू होने के साथ ही स्वास्थ्य विभाग ने अपनी कवायद तेज कर इस पर काबू पाने का प्रयास कर रहा है.
बारिश के बाद डेंगू के बढ़ने के आसार को लेकर स्वास्थ्य विभाग ने शहरी और ग्रामीण क्षेत्र में अलग-अलग टीम बनाई जो घर-घर जाकर सर्वे कर रही है. साथ ही एंटी लार्वा दवाई खुले में पड़े पानी और नालियों में डाला जा रहा है, तो वहीं जहां गंदगी अधिक है या मच्छर जनित क्षेत्र में चिह्नित किया गया. वहां फॉगिंग भी करवा रहा है. इसी का परिणाम है कि डेंगू शुरू होने के साथ ही जिस तेजी से फैल रहा था. उस पर काफी हद तक विभाग ने अपने प्रयासों से कंट्रोल किया है.
बता दें कि अगर बात करें आंकड़ों की तो पिछले वर्ष अक्टूबर माह तक 1500 के करीब पेसेंट डेंगू से ग्रसित हो गए थे. उससे सबक लेते हुए स्वास्थ्य विभाग ने इस बार अगस्त से अगेंस डेंगू नाम का अभियान चलाकर लोगों में जागरूकता पैदा की, जिसके कारण अभी तक 230 डेंगू के पेशेंट चिह्नित किए गए हैं, जो पिछले वर्ष की तुलना में काफी कम है. वहीं सेंपलिंग भी इस वर्ष अधिक बढ़ाई गई है.सीएमएचओ डॉ. अबरार कहते हैं कि हालांकि इस बार बारिश पिछले वर्ष की तुलना अधिक हुई जिसे डेंगू का खतरा बढ़ गया था, लेकिन हमने 22 अगस्त से अगेंस डेंगू अभियान चलाकर इस पर काबू पाने का पूरा प्रयास किया है. पिछले वर्ष जहां अक्टूबर तक पंद्रह सौ का आंकड़ा छू गया था तो वहीं अभी तक 230 आंकड़े ही आए हैं. हमने घर-घर सर्वे करवाया है.
आपको बता दें कि साथ ही एंटी लारवा लार्व दवाई भी डलवाई है और लोगों को मच्छर के फैलने को रोकने के लिए जागरूक किया है. यह अभियान ग्रामीण और शहरी क्षेत्र दोनों में किया जा रहा है. डेंगू के साथ-साथ इस बार मलेरिया भी कंट्रोल में इस पूरे वर्ष में अभी तक 16 केस मलेरिया के आए हैं. खाजूवाला चिकित्सा अधिकारी अमरचंद बुनकर बताते हैं कि मच्छर जनित रोगों को रोकने के लिए स्वास्थ्य विभाग की टीम द्वारा एंटी लार्वा पर काम किया जा रहा है. साथ ही लोगों में जागरूकता पैदा करने के लिए काम करना किया जा रहा है. हालांकि बारिश अधिक होने के कारण मच्छर जनित रोगों के फैलने का खतरा अधिक रहता है.