
बीकानेर,प्रसव पूर्व, प्रसव के दौरान तथा प्रसव पश्चात सेवाओं में सतत गुणवत्ता सुधार करके ही सुरक्षित मातृत्व का आश्वासन दिया जा सकता है। इसके लिए भारत सरकार के लक्ष्य सर्टिफिकेशन कार्यक्रम तथा सुरक्षित मातृत्व आश्वासन यानी कि सुमन कार्यक्रम को प्राथमिकता से लागू किया जाना आवश्यक है। लक्ष्य कार्यक्रम तथा सुमन कार्यक्रम को लेकर आयोजित संभाग स्तरीय कार्यशाला में निदेशालय जयपुर के परियोजना निदेशक (मातृत्व स्वास्थ्य) डॉ तरुण चौधरी ने उक्त निर्देश देते हुए संभाग स्तरीय समीक्षा की। उन्होंने स्पष्ट किया कि सरकार अब सेवाओं की उपलब्धता से कहीं आगे बढ़कर गुणवत्ता पूर्ण तथा आदर्श सेवाएं उपलब्ध करवाने की ओर अग्रसर है। ऐसे में मातृत्व एवं शिशु स्वास्थ्य से संबंधित समस्त कार्यक्रमों की नियमित मॉनिटरिंग करते हुए सतत सुधार किया जाए। उन्होंने बताया कि भारत सरकार द्वारा प्रदत लक्ष्य के अनुसार राजस्थान में कम से कम 200 लेबर रूम तथा 80 लेबर ऑपरेशन थिएटर को लक्ष्य सर्टिफाइड करवाया जाना है। उन्होंने संभाग के चारों जिलों की प्रसव पूर्व जांच, संस्थागत प्रसव, प्रसव पश्चात जांच, मां वाउचर योजना, प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान, प्रसव वॉच कार्यक्रम, प्रसव सखी योजना, जननी शिशु सुरक्षा योजना, शुभलक्ष्मी योजना, राजश्री योजना, लाडो प्रोत्साहन योजना सहित समस्त मातृत्व स्वास्थ्य योजनाओं पर व्याख्यान दिया।
संयुक्त निदेशक बीकानेर जॉन डॉ देवेंद्र चौधरी ने मातृत्व स्वास्थ्य को लेकर संभाग के चारों जिलों की प्रगति रिपोर्ट प्रस्तुत की। उन्होंने विभिन्न बिंदुओं पर कम प्रगति वाले जिलों को जल्द सुधार के निर्देश दिए। डॉ चौधरी ने स्पष्ट किया कि जच्चा बच्चा का स्वास्थ्य ही स्वास्थ्य विभाग का प्राथमिक कार्य है और इसमें किसी प्रकार की कोताही स्वीकार्य नहीं है। उपनिदेशक डॉ राहुल हर्ष ने बताया कि मातृ मृत्यु दर तथा शिशु मृत्यु दर को मिलेनियम डेवलपमेंट गोल स्तर तक लाने के लिए लक्ष्य तथा सुमन जैसे कार्यक्रम अत्यंत प्रासंगिक है। कार्यवाहक सीएमएचओ डॉ योगेंद्र तनेजा ने मातृत्व स्वास्थ्य को लेकर बीकानेर जिले की उपलब्धि तथा नवाचारों के बारे में बताया। पीबीएम हॉस्पिटल एमसीएच विंग की ओर से डॉ स्वाति कोचर ने मातृत्व सेवाओं की प्रगति बताई। राज्य स्तर से नामित प्रशिक्षक नर्सिंग अधिकारी महिपाल सिंह, हेल्थ मैनेजर डॉ नावेद, सहयोगी संस्थान जपाएगो जयपुर की ओर से कार्यक्रम अधिकारी श्रीषा, रोबिन शर्मा, यूएनएफपीए जपाईगो से गुंजोत तथा बीकानेर के कार्यक्रम अधिकारी डॉ आर के वेनीवाल, सुनील सेन ने कार्यक्रमवार प्रशिक्षण दिया। इस अवसर पर आरसीएचओ बीकानेर डॉ मुकेश जनागल, श्रीगंगानगर से डॉ मुकेश मेहता सहित बीकानेर, श्रीगंगानगर, हनुमानगढ़ व अनूपगढ़ के डीपीओ, डीएनओ, लक्ष्य सर्टिफिकेशन हेतु नामित विभिन्न अस्पतालों के प्रभारी चिकित्सक तथा विभिन्न कार्यक्रम अधिकारी मौजूद रहे।