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नोखा कस्बे के जंभेश्वर चौक निवासी एक गोलगप्पे बेचने वाले युवक की अचानक मौत हो गई। मृतक का परिवार गरीब था। मृतक मनोज केवट के 5 लड़कियां और 2 लड़के हैं जो अपने पत्नी सहित अपने दो अन्य भाइयों के साथ नोखा के जंभेश्वर चौक में एक किराए के मकान में रहता था और मराठी चौक में गोलगप्पे का ठेला लगाकर परिवार का पालन-पोषण करता था।

शुक्रवार सुबह युवक की मौत होने से मौत हो गई जिसके बाद परिजनों ने मृतक के शव को उसके पैतृक गांव गाजीपुर उत्तर प्रदेश से जाने की परिवार के सदस्यों इच्छा जताई लेकिन आर्थिक स्थिति खराब होने के कारण पीड़ित परिवार की मदद करने के लिए कोई भी तैयार नहीं हुआ।
मृतक का शव जब बागड़ी अस्पताल की मोर्चरी में रखवाया गया उस समय वहां पीड़ित परिवार को जानकारी वहाँ मौजूद अन्य लोगों को पता चली।तो उन्होंने परिवार की मदद करने का फैसला किया जिसके बाद सोशल मीडिया में पीड़ित परिवार की मदद करने को लेकर एक पहल चलाई गई ओर मैसेज वायरल किया गया।

मैसेज वायरल होने के बाद सुगनाराम फौजी द्वारा बनाया बीकाणा समूह एक अन्य सोशल मीडिया के ग्रुप पर मदद करने से आप मैसेज वायरल होने के बाद देखते ही देखते लगभग 50 हजार से ज्यादा रुपए की नगद राशि एकत्रित कर ली गई।
मनोज केवट की देह को ताबूत में पैक करवाया गया और बर्फ की व्यवस्था की गई ताकि 1300 किलोमीटर के सफर में शव खराब न हो।
एंबुलेंस का किराया और मृतक की पत्नी शारदा देवी को नकद 30000 से ज्यादा रुपए सौंपे गए।
पीड़ित परिवार की मदद करने को लेकर भागवताचार्य कन्हैया लाल पालीवाल,पार्षद राधेश्याम लखोटिया, समाजसेवी जेठमल दरक, डॉक्टर जय नारायण विश्नोई, डॉक्टर बिरमाराम, दीपक सोनी, हिमटसर सरपंच प्रतिनिधि रिछपाल विश्नोई, श्रवण सोनी, सीए पंकज चांडक, आरटीओ इस्पेक्टर बृजेश कुमार, समाजसेवी नारायण जोशी, कालूराम भार्गव, महेंद्र डेलू, राम नारायण विश्नोई, महेंद्र तिवाड़ी, जेईएन नंदकिशोर मीणा, पार्षद देवकिशन चांडक, शिव दम्माणी, मेहताब पठान, सुनील जाट,।ईओ श्रीकेश कांकरिया, प्रवीण कुमार, नंदकिशोर सुथार, वेद प्रकाश मोदी, रोनक बिश्नोई, धर्माराम भादू, श्याम सुंदर, मांगीलाल बिश्नोई, प्रकाश प्रजापत, मोतीलाल गहलोत, मनोज सिद्ध, पपु राम, शंकर लाल गोड़, हनुमान राजपुरोहित, सहित अनेक युवाओं ने तत्काल मदद करते हुए पीड़ित के परिवार को सहायता राशि उपलब्ध करवाई।
जब मृतक पत्नी को नगद राशि सौंपी जा रही थी वह रो रही थी उसे किसी तरह वहां मौजूद लोगों ने ढांढस बंधाया और परिवार को सांत्वना देकर रवाना किया था।
रास्ते में पुलिस वाला द्वारा मृतक के शव को एंबुलेंस रोकी नहीं जा सके उसके कागजात संपूर्ण करवा कर शव पाए गए जिसके बाद परिवार को रवाना किया गया।
मृतक के भाई संजय ने बताया कि उसका भाई और तीन अन्य भाई यह नोखा में ठेला लगाकर गोलगप्पे बेचते हैं उसकी भाभी ओर बच्चे उन सबको रोटी बनाकर देती है बाकी परिवार गाँव मे ही रहता है। परिवार में 20 मई को शादी होने की तैयारी के।कारण उसके दो भाई गांव गए हुए थे जो आज ही सुबह वापस नोखा के लिए रवाना हुए थे जिन्हें इस प्रकार का हादसा होने की जानकारी भेज मिलने पर तत्काल वापस गांव रवाना कर दिया गया।
मृतक की एक बेटी नोखा की सुथारों की बास स्कूल में कक्षा 5 की छात्रा है जिसकी अभी परीक्षा चल रही है छोटा बेटा 2 साल का है।
अब अपने भाई और परिवार की महिला और बच्चों को लेकर वे गांव रवाना हो रहे हैं आर्थिक सहयोग करने वाले सभी गणमान्य लोगों का पीड़ित परिवार ने धन्यवाद दिया।

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