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बीकानेर, जयपुर. राजस्थान कांग्रेस में विवाद खत्म करने और गुटबाजी को कम करने की कवायद अंतिम चरणों में है. सुलह के फॉर्मूले के नतीजे इसी माह के अंत तक सामने आने की संभावनाएं जताई जा रही है. सूत्रों की मानें तो 28 और 29 जुलाई को सभी कांग्रेस विधायकों और प्रमुख प्रदेश कांग्रेस पदाधिकारियों को जयपुर में ही रहने को निर्देशित किया गया है. माना जा रहा है कि इसी दौरान मंत्रिमंडल विस्तार या राजनीतिक नियुक्तियों की झलकी भी देखने को मिल सकती है. हालांकि मंत्रिमंडल विस्तार की निर्धारित तारीख को लेकर अभी आधिकारिक खुलासा होना बाकी है। पंजाब में कैप्टन अमरिंदर सिंह और नवजोत सिंह के विवाद को शांत करने के बाद अब कांग्रेस हाईकमान राजस्थान में जारी कलह की सुलह में जुट गया है. इसी कड़ी में राज्य में अशोक गहलोत मंत्रिमंडल में फेरबदल और बड़ी संख्या में राजनीतिक नियुक्तियों की सुगबुगाहट के बीच कांग्रेस विधायकों तथा पार्टी प्रदेश कार्यकारिणी पदाधिकारियों की एक महत्वपूर्ण बैठक रविवार को जयपुर प्रदेश कांग्रेस कार्यालय में आयोजित हुई। ​जिसमें बैठक में कांग्रेस का समर्थन कर रहे कुछ निर्दलीय विधायक और पायलट खेमे से जुड़े विधायक भी शामिल रहे. कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा, पार्टी के संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल और प्रदेश प्रभारी अजय माकन भी ने यह बैठक ली। बैठक के बाद अजय माकन ने स्पष्ट कहा कि जल्द ही राजस्थान में कैबिनेट विस्तार को लेकर हाईकमान फैसला करेगा और यह सबको स्वीकार्य होगा, बैठक में भी इस मुद्दे पर चर्चा हुई। हम कैबिनेट विस्तार, जिला और ब्लॉक प्रमुखों की नियुक्ति और बोर्ड-कॉर्पोरेशन में नियुक्तियों को लेकर अपने नेताओं से चर्चा कर रहे हैं। इसके साथ ही माकन ने यह भी कहा कि राजस्थान में कैबिनेट विस्तार को लेकर पार्टी जल्द ही अपना फैसला सुनाएगी। माकन 28 और 29 जुलाई को फिर से राजस्थान पहुंचेंगे और कांग्रेस विधायकों से अलग से मुलाकात करेंगे ताकि जिला और ब्लॉक स्तर पर कांग्रेस की टीम के लिए नियुक्तियों पर राय-विमर्श किया जा सके। उधर बैठक में शामिल होने बाद जाते हुए पूर्व उपमुख्यमंत्री सचिन पायलट इस मसले पर कुछ भी बोलने से बचे. बैठक के बाद जहां प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा ने इस बैठक को विधायक दल की बैठक बताए जाने की खबरों को खारिज किया वहीं विधानसभा में मुख्य सचेतक महेश जोशी ने कहा कि मंत्रिमंडल फेरबदल तथा अन्य बातों को लेकर पार्टी आलाकमान जो भी फैसला करेगा वह सबके लिए मान्य होगा। बैठक में पायलट खेमे के विधायक जीआर खटाना, रामनिवास गावरिया और मुकेश भाकर शामिल हुए। कांग्रेस सरकार का समर्थन कर रहे निर्दलीय विधायक और बसपा से कांग्रेस में आए विधायक संदीप यादव भी बैठक में शामिल हुए। पायलट जब बैठक में भाग लेने के लिए पहुंचे तो वहां मौजूद उनके समर्थकों ने उनके समर्थन में जमकर नारेबाजी की। बैठक में पहुंचे पायलट खेमे के विधायक जीआर खटाना ने कहा कि अब फैसले का समय आ गया है. एक साल पहले ही देरी हो चुकी है. अब और देरी नहीं करनी चाहिए.

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