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बीकानेर,अनुसन्धान निदेशालय, स्वामी केशवानंद राजस्थान कृषि विश्वविद्यालय द्वारा “अंतरराष्ट्रीय मिलेट्स वर्ष पर जागरूकता कार्यक्रम” सेंट्रल एकेडमी, बीछवाल, बीकानेर में आयोजित किया गया जिसमें डॉ. पी.एस. शेखावत, निदेशक अनुसन्धान, स्वामी केशवानंद राजस्थान कृषि विश्वविद्यालय ने मोटे अनाजों के महत्व के बारे में बताया तथा इनमें पाये जाने वाले पोषक तत्वों की जानकारी देते हुए बताया कि ये किस प्रकार मानव शरीर के लिए लाभदायक है | साथ ही, डॉ. शेखावत ने बताया कि मोटे अनाज का सेवन करने से बच्चों और महिलाओं की रोग प्रतिरोधक क्षमता बढती है व कुपोषण को दूर कर सकते हैं | कार्यक्रम में उपस्थित डॉ. विमला डुकवाल, अधिष्ठाता, सामुदायिक विज्ञान महाविधालय, बीकानेर ने मोटे अनाजों से बनने वाले उत्पादों तथा इनके मूल्य संवर्धन की विधियों के बारे में बताया तथा बाजरे से बने उत्पादों जैसे चॉकलेट, केक, मफीन आदि से रूबरू करवाया | कार्यक्रम के दौरान डॉ. पी.सी. गुप्ता, अतिरिक्त निदेशक अनुसन्धान, स्वामी केशवानंद राजस्थान कृषि विश्वविद्यालय ने मोटे अनाजों की राजस्थान की जलवायु के प्रति अनुकूलता के बारे में बताया तथा मोटे अनाजों के क्षेत्रफल व उत्पादन के बारे में बताया | इस कार्यक्रम में सेंट्रल एकेडमी के निदेशक श्री के.सी. मिश्रा, स्टाफ व 70 छात्रों ने उत्साह पूर्वक भाग लिया | कार्यक्रम के अंत में बाजरे से बने उत्पाद बच्चों को वितरित किए गए |

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