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बीकानेर, जिलों में चोरी, लूट व छीना-झपटी की घटनाओं पर अंकुश लगाने के लिए अब पुलिस प्रशासन गश्त व्यवस्था को मजबूत कर रहा है। हर दिन गश्त की मॉनिटरिंग होगी। मॉनिटरिंग संबंधित थानाधिकारी, सर्किल ऑफिसर के साथ-साथ जिले के एएसपी सिटी व ग्रामीण करेंगे। पूरे रेंज की मॉनिटरिंग रेंज कार्यालय में एएसपी स्तर का अधिकारी करेगा। यह व्यवस्था 25 नवंबर से लागू की जाएगी। इसके लिए हरेक जिले का वाट्सअप ग्रुप बनाया गया है। जिले के वाट्सअप ग्रुपों में बीकानेर रेंज आइजी को जोड़ा गया है।

गश्त प्रभारी को करना होगा यह
गश्त प्रभारी को गश्त जहां से शुरू हुई वहां का फोटो लेकर कहां तक गश्त की इसका फोटाे वाट्सअप ग्रुप में डालना होगा। गश्त करने का समय, स्थान के साथ-साथ गश्ती दल में सदस्यों की संख्या आदि की जानकारी देनी होगी। गश्त के दौरान किसी तरह की कोई संदिग्ध गतिविधि नजर आने और हुड़दंग करने तथा किसी भी तरह का संदेह होने पर ग्रुप में सूचना देने के साथ अधिकारी को सूचित करेंगे।

94 गश्ती दल, 282 जवान

बीकानेर रेंज में करीब 94 थाने हैं। इन थानों के लिए 94 गश्ती दल बनाए गए हैं। एक दल में कम से कम तीन सदस्य होंगे। इसके अलावा थानों में मौजूद बाइक, चेतक गश्त करेंगी। थाना क्षेत्र में कई जगह पर स्थायी जाप्ता भी तैनात होगा।

इनका कहना है…

चोरी, छीना-झपटी की बढ़ती घटनाओं के चलते आम लोग भयभीत हो रहे हैं। लोगों में पुलिस का भरोसा कामय करने तथा अपराधियों में डर के लिए प्रभावी गश्त होना जरूरी है। रेंज के सभी थानों में हर दिन गश्त होगी। 15 दिन में एक बार फ्लैग मार्च निकाला जाएगा। थानाधिकारी से लेकर सीओ तक गश्त व फ्लैग मार्च में अनिवार्य रूप से शामिल होना होगा।
ओमप्रकाश, बीकानेर रेंज पुलिस महानिरीक्षक

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