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बीकानेर,बीकानेर डेंगू के नए मरीज मिलने का सिलसिला थम नहीं रहा है। पीबीएम अस्पताल में  बुधवार को 19 नए रोगी मिले हैं। इनमें से आठ भर्ती हैं। पीबीएम में अब तक 473 डेंगू पॉजिटिव सामने आए हैं, जिनमें से 251 को भर्ती कर इलाज किया जा चुका है।पिछले एक सप्ताह से डेंगू का प्रकोप बढ़ता ही जा रहा है। स्वास्थ्य विभाग की टीमों ने मंगलवार को जिले के उच्च जोखिम वाले क्षेत्रों में एंटी लार्वा गतिविधि और स्क्रीनिंग की। इस बार डेंगू सबसे ज्यादा बच्चों, स्कूल-कॉलेज के किशोरों और कामकाजी युवाओं को अपनी चपेट में ले रहा है। बीकानेर में इस साल उपलब्ध 462 मरीजों के आंकड़ों का विश्लेषण करने पर पता चला कि बुजुर्गों में सबसे कम डेंगू हो रहा है. डेंगू के सबसे ज्यादा 50.21 फीसदी पीड़ित 16 से 35 साल की उम्र के हैं। इसके बाद 15 साल तक के बच्चों की संख्या 22.07 फीसदी और 36 से 50 साल तक के बच्चों की संख्या 14.28 फीसदी है. डेंगू के सबसे कम मरीज 70 साल से ऊपर के हैं। उनका प्रतिशत 2.38 है।स्कूल-कॉलेज के छात्र और कामकाजी लोग इस बीमारी की चपेट में आने का एक कारण यह है कि डेंगू फैलाने वाला मच्छर एडीज एजिप्टी डे-बिटर है। यह मच्छर सूर्योदय के कुछ घंटे बाद और शाम को सूर्यास्त से पहले कुछ घंटों के लिए सबसे अधिक सक्रिय होता है, और यह खुले क्षेत्रों में अधिक काटता है। एडीज एजिप्टी मच्छर की कुछ आदतों के बारे में कई बार चर्चा और शोध होता है। अध्ययनों से पता चला है कि यह मच्छर काटने वाला है। यह सुबह और शाम सबसे अधिक सक्रिय होता है। बंद कमरों की अपेक्षा खुले में अधिक काटता है। साफ पानी आदि में अंडे देती हैं। ऐसे में इस मौसम में बेहद सावधानी बरतने की जरूरत है। इसलिए युवा और बच्चे अधिक असुरक्षित: स्कूली बच्चे, कॉलेज के छात्र और कामकाजी युवा सुबह और शाम यात्रा करते समय इस बीमारी की चपेट में हैं, क्यों इस उम्र के अधिकांश लोग आधी बाजू की शर्ट या टी-शर्ट पहनते हैं . बच्चे शॉर्ट्स पहनते हैं। चलते समय भी यही स्थिति बनी रहती है।

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