इसी प्रकार आयूष चौहान, देशनोक के पार्थ सारस्वत, कांता सारस्वत, प्रिया भाटी, संगीता बिश्नोई, 12वीं के साथ देव किशोर व्यास और नापासर की राधिका झँवर को पुराने मेडिकल कॉलेज एलोट हुए हैं।
डाक्टर गोस्वामी के अनुसार आल इंडिया राऊन्ड वन से तुषार चंदन को एम्स दिल्ली, अंश चौहान को
यूसीएमएस दिल्ली, मनोज भादू को एम्स जोधपुर और प्रेम प्रजापत जैसे टोपर्स को एम्स ऋषिकेश एलोट हो चुका है तथा इन विधार्थियों ने राजस्थान के विधार्थियों के लाभ हेतु स्टेट की काऊन्सलिंग में भाग ही नहीं लिया। इस प्रकार नीट यूजी में इस साल स्टेट काऊन्सलिंग के राऊन्ड प्रथम और आल इंडिया राऊण्ड प्रथम के बाद 80 विद्यार्थियों को सरकारी मेडिकल कॉलेज एलोट हो चुकी है जिनमें कुछ विद्यार्थियों को आल इंडिया व स्टेट राऊण्ड प्रथम दोनों में कॉलेज एलोट हुई है। वहीं सैकण्ड राऊण्ड के पश्चात् 45 अन्य विद्यार्थियों को कॉलेज एलोट होने की संभावना है। इस प्रकार संस्थान से 125 विद्यार्थियों को सरकारी मेडिकल कॉलेज एलोट होने की संभावना है। संस्थान का प्रत्येक 7 वां विधार्थी नीट मे चयनित हो रहा है जो कि एक बडी़ उपलब्धि है। यह संभव हुआ है सिंथेसिस गुरुजन, सिंथेसियन्स के कठोर परिश्रम और अभिभावकों के विश्वास के कारण।