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बीकानेर,राजस्थान सरकार द्वारा गोचर भूमि में कब्जा धारियों को पट्टे जारी करने के निर्णय के विरोध में पूर्व सिंचाई मंत्री देवी सिंह भाटी के नेतृत्व में अनिश्चितकालीन धरना गोचर भूमि पर पूर्व सिंचाई मंत्री देवी सिंह भाटी के सानिध्य”एवं “मानव धर्म प्रचार सेवा संस्थान एवं संत मनुजी महाराज के संयोजन में 16:फरवरी से नित्य भक्तो ओर श्रदालुओ की विशेष भक्तिआग्रह के कारण आज से गोचरधाम मे “गौकथा व श्रीमद्भागवतगीता महोत्सव का वाचन बालसंत श्रीछैल विहारी जी महाराज के मुखारविंद बुधवार शुभारंभ हुआ,।जिसमे भव्य कलश “यात्रा राम गणेश मन्दिर मुरलीधर नगर व्यास कॉलोनी से कलश यात्रा” दोपहर 12:15 बजे निकाली गई। कथा का समय नित्य प्रतिदिन 1:00 से 3:00 रहेगा कथा का वाचन बाल संत श्रीछैल विहारी जी महाराज के मुखारविंद से शुभारंभहुआ.. उपरोक्त जानकारी देते हुए मनु जी महाराज ने बताया कि भव्य कलश यात्रा के साथ श्री गो कथा एवं श्रीमद भगवत गीता सार महोत्सव का शुभारंभ किया गया जिसमें अनेक माता बहन सिर पर कलश धारण किए हुए श्री कृष्ण गोविंद हरे मुरारी कीर्तन के साथ में रामगणेश मन्दिर से गोचर धाम पहुंचे। जहां पर पूर्व सिंचाई मंत्री देवी सिंह भाटी ने गोकलश यात्रा एवं श्रीमद भगवत गीता मौसम यात्रा का स्वागत सत्कार अभिनंदन किया तत्पश्चात पूर्व सिंचाई मंत्री देवी सिंह भाटी जी द्वारा एवं देवकिशन प्रेमलता चांडक दम्पति द्वारा श्रीमद भगवत गीता एवं श्रीगोकथा पुराण की स्थापना मंच पीठ पर की गई। कथा सेवा में अंशुमान सिंह भाटी गोगी बन्ना देवकिशन चांडक देव श्री रामकृष्ण आचार्य सुनील बांठिया, ओमप्रकाश कुलरिया, रवि शास्त्री नितेश आसदेव सीमा पुरोहित कुणाल पारीक एवं सहयोगी कार्यकर्ता संपूर्ण कलश यात्रा एवं भागवत कथा में अपनी सेवाएं दे रहे थे आज गो कथा एवं श्रीमद्भगवद्गीता का पूजन समाजसेवी उधोगपति देवकिशन प्रेमलता चांडक द्वारा पंडित रवि कुमार शास्त्री द्वारा करवाया गया। प्रथम दिवस की कथा में बालसंत श्रीछैल बिहारी जी महाराज ने गोकथा की महिमा एवं उत्पत्ति के बारे में वशिष्ठ एवं कामधेनु के बारे मे संपूर्ण विस्तृत व्याख्या कर बतलाया।कि भारतीय सनातन संस्कृति की नींव है गौ माता। ऐसे पशु समझने वाले अज्ञानी है गो माता एवं श्रीमद्भगवद्गीता वैदिक संस्कृति का मूल स्वरूप है।और माता का भी बाजार में बेची नहीं जानी चाहिए गऊमाता, कभी निराश्रित असहाय रूप में विचरण नहीं करनी चाहिए। यह हम सब सनातनी जीवों का मुख्य नैतिक दायित्व होना चाहिए। श्रीमद्भगवद्गीता सार समझाते हुए बालसंत जी ने कहा।कि जीवन की प्र त्रिविध ताप से सांसारिक जीवो को लड़ने का मूल दिव्य शास्त्र एवं ज्ञानीजनों का शस्त्र श्रीमद भगवत गीता इसलिए प्रत्येक संसारी जीव को गाय और गीता का सदैव सम्मान एवं आदर करना प्रत्येक जीव मात्र का कर्तव्य होना चाहिए।आज गौकथा मे आज विशिष्ट आरती आतिथ्यनरेंद्र सिंह राजपूत

जिला प्रमुख देवास, प्रदेश अध्यक्ष स्थानीय निकाय मध्य प्रदेश किशनसिंह जी भाटी भादरिया जैसलमेर का रहा।

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