Trending Now


 

 

बीकानेर,जयपुर,राजस्थान के कोटा और बूंदी जिलों में लगातार हो रही बारिश और बाढ़ के बढ़ते पानी के बीच, भारतीय सेना की सप्त शक्ति कमान ने त्वरित प्रतिक्रिया और अटूट प्रतिबद्धता के साथ व्यापक बाढ़ राहत अभियान शुरू किए हैं। ऑपरेशनल रेडीनेस और मानवीय संवेदनाओं का परिचय देते हुए, राहत दल तुरंत प्रभावित क्षेत्रों तक पहुँचे और बचाव, निकासी तथा राहत कार्य आरंभ किए, ताकि निचले इलाकों में फँसे नागरिकों की सुरक्षा एवं सलामती सुनिश्चित की जा सके।

 कोटा जिले की दीगोद तहसील के निमोड़ा हरिजी गाँव में एक प्रमुख अभियान के दौरान सेना ने महिलाओं, बच्चों और बुजुर्गों सहित 200 से अधिक ग्रामीणों को सुरक्षित निकालकर सफलतापूर्वक पुनर्स्थापित किया। साथ ही राहत दलों ने प्रभावित परिवारों को  भोजन, पेयजल और दवाइयाँ सहित आवश्यक सामग्री उपलब्ध कराई, जिससे उनकी प्राथमिक आवश्यकताएँ पूरी हो सकें।

मौसम की विपरीत परिस्थितियों और लगातार भारी बारिश के बावजूद, सेना की टीमें चौबीसों घंटे अथक प्रयास करती रही हैं। इन त्वरित और संवेदनशील अभियानों ने जहाँ सुरक्षित बचाव को सुनिश्चित किया, वहीं बाढ़ की मार झेल रहे ग्रामीणों के टूटे मनोबल को भी नई आशा और विश्वास से पुनर्जीवित किया।

राहत अभियानों के दायरे को और विस्तृत करते हुए, बूंदी जिले के नैणवां, केशवरायपाटन और बड़ी धांधला क्षेत्रों में भी सेना के  राहत दल तैनात किए गए हैं, जहाँ अनेक गाँव जलभराव से ग्रस्त हैं। सेना की सक्रिय उपस्थिति ने न केवल स्थानीय नागरिकों को भरोसा दिलाया है बल्कि नागरिक प्रशासन को राहत पहुँचाने में महत्वपूर्ण सहयोग दिया है। ये समन्वित प्रयास प्राकृतिक आपदाओं के समय भारतीय सेना की भरोसेमंद भूमिका को रेखांकित करते हैं। राहत अभियानों के माध्यम से सप्त शक्ति कमान अपने मूल सिद्धांत “Delivering Hope, Saving Lives” को निरंतर आगे बढ़ा रही है और राजस्थान के नागरिकों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर खड़ी है तथा विपरीत परिस्थितियों में भी विश्वास और साहस को सुदृढ़ कर रही है।

Author