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बीकानेर,उद्यानिकी विभाग द्वारा सूक्ष्म सिंचाई योजना पीडीएमसी के तहत उद्यानिकी नवाचार व जल उपयोग दक्षता प्रबन्धन पर शुक्रवार को लूणकरणसर के कृषि विज्ञान केन्द्र सभागार मेंकृषक दम्पति जिला स्तरीय प्रशिक्षण का आयोजन किया गया। प्रशिक्षण कार्यक्रम उपनिदेशक (उद्यानिकी) रेणु वर्मा की अध्यक्षता में आयोजित हुआ।
तकनीकी सत्र में केन्द्रीय शुष्क बागवानी संस्थान बीकानेर के प्रधान वैज्ञानिक डॉ रामकेश मीना ने खजूर की उन्नत किस्मों, प्रबंधन एवं सम्पूर्ण प्रसंस्करण प्रकिया की जानकारी दी। सीआईएएच के डॉ हनुमान डूडी ने संरक्षित खेती पाॅली हाउस-शेडनेट हाउस में उद्यानिकी फसलों की खेती पर व्याख्यान दिया।
स्वामी केशवानन्द राजस्थान कृषि विश्वविद्यालय के शस्य वैज्ञानिक डॉ. एस पी सिंह ने पाले से फसलों का बचाव व प्रबन्धन से सम्बन्धित बिन्दुओं पर विस्तार से चर्चा की। कार्यक्रम का संचालन करते हुए कृषि अधिकारी मुकेश गहलोत ने किसानों को कृषि एवं उद्यानिकी विभाग द्वारा देय विभिन्न योजनाओं के बारे में जानकारी दी। लूणकरणसर कृषि विज्ञान केन्द्र के प्रभारी डॉ आर के सिवरान ने कृषि विज्ञान केन्द्र द्वारा किए जा रहे अनुसंधान कार्यों के बारे में विस्तार से बताया।
एसकेआरएयू के सूक्ष्म सिंचाई विशेषज्ञ डॉ जितेन्द्र गौड़ ने बूंद-बूंद सिंचाई का उपयोग के बारे में किसानों को अवगत करवाया। कार्यशाला में लूणकरणसर उद्यान विभागीय अधिकारी तथा 60 से अधिक प्रगतिशील किसान दम्पती उपस्थित रहे। प्रशिक्षण में आयोजित प्रश्नोत्तरी के आधार पर प्रथम स्थान पर सारिका विश्नोई, द्वितीय स्थान पर भगवाना राम विश्नोई व तृतीय स्थान विष्णु आत्मा राम कड़वासरा का चयन कर उन्हें सम्मानित किया गया। कार्यशाला में डॉ भगवती, शक्ति सिंह, मोनिका, धर्मपाल इत्यादि उपस्थित रहे।

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