बीकानेर,भारतीय शिक्षण मंडल के युवा आयाम द्वारा विजन फ़ॉर विकसित भारत (विविभा-2024) विषय पर राष्ट्रीय युवा शोधार्थी सम्मेलन 15 से 17 नवंबर 2024 तक एस.जी.टी. विश्विद्यालय गुरुग्राम में आयोजित हो रहा है। इस सम्मेलन को मुख्य अतिथि के रूप में संबोधित करते हुए सरसंघचालक डॉ. मोहन भागवत ने भारतीय ज्ञान परम्परा का महत्त्व बताते हुए कहा कि हर भारतीय को ‘”अपना -भारत श्रेष्ठ भारत , विकसित-भारत, और सामर्थ्य सम्पन्न-भारत” चाहिए। इस हेतु यह राष्ट्रीय शोध सम्मेलन एक नई दिशा की ओर ले जाएगा। इस त्रिदिवसीय सम्मेलन में बीकानेर के राजकीय डूँगर महाविद्यालय की शोधार्थी तनुष्का रुद्रप्रिया का भी चयन हुआ है। इस सम्मेलन के संदर्भ में भारतीय शिक्षण मंडल जोधपुर प्रान्त के युवा आयाम प्रमुख डॉ. रमेश पुरी ने बताया कि राष्ट्रीय स्तर पर डेढ़ लाख से अधिक पंजीकृत शोधार्थियों में से राजकीय डूँगर महाविद्यालय के 400 शोधार्थियों का पंजीयन महाविद्यालय के सहायक आचार्य डॉ. निर्मल कुमार रांकावत के अध्यवसाय एवं प्रेरणा से हुए थे। राष्ट्रीय स्तर पर चयनित 1200 उत्कृष्ट शोधार्थियों में से तनुष्का रुद्रप्रिया का डूँगर महाविद्यालय से चयन हुआ है। इस त्रिदिवसीय सम्मेलन मे पूर्व मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई, योग गुरु बाबा रामदेव, डॉ. धर्मेंद्र प्रधान,जे.एन.यू. के कुलपति शांति श्री पण्डित सहित देश-विदेश के नामचीन विद्वानों का पाथेय प्राप्त होगा।
इस सम्मेलन में राजस्थान से भारतीय शिक्षण मंडलके प्रान्त मंत्री चंडीदान चारण, रवींद्र सिंह खुडियाला, बीकानेर जिला मंत्री डॉ. विष्णुदत्त जोशी, महिला प्रकोष्ठ से इला पारीक,युवा आयाम के डॉ. अमित तंवर एवं शोधार्थी तनुष्का रुद्रप्रिय सम्मिलत हुए। राजस्थान के प्रतिनिधियों की राजस्थानी वेशभूषा एवं उनकी पगड़ी राष्ट्रीय सम्मेलन में सभी के आकर्षण का केंद्र रही।
डूँगर कॉलेज से राष्ट्रीय स्तर पर तनुष्का के चयन एवं सम्मानित होने पर महाविद्यालय के प्राचार्य डॉ. राजेन्द्र पुरोहित ने प्रसन्नता व्यक्त करते हुए इसे महाविद्यालय के लिए गौरवमयी क्षण बताया तथा उन्होंने कहा ऐसे शोध कार्य भारत की “एक भारत-श्रेष्ठ भारत’ की परिकल्पना साकार करेंगे।