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बीकानेर,रशुखदार ससुराल वालों ने पुत्रवधू और अबोध बच्चे को दहेज की मांग करते हुए मारपीट कर घर से बाहर निकाल देने का मामला सामने आया है। मिली जानकारी के अनुसार पवनपुरी निवासी अभिलाषा पत्नी धनराज पंवार द्वारा एक प्रथम सूचना रिपोर्ट सं. 58/24 पुलिस थाना महिला, बीकानेर में अपराध धारा 498ए, 406, 323 भा.द.सं. में पति धनराज, जेठ ओमप्रकाश, सास रूकमणी, जेठानी पूजा, ननद आशा, ननदोई राजेश गहलोत, चाचा ससुर सत्यनारायण के विरूद्ध दिनांक 19.02.2024 को दर्ज करवाई थी।

प्रार्थिनी ने बताया की प्रथम सूचना रिपोर्ट दर्ज करवाने के पश्चात् से वह निरन्तर पुलिस थाना महिला के चक्कर लगा रही है। पुलिस उक्त प्रकरण में ढिलाई बरत रही है एवं जानबूझकर अभियुक्तगणो को शह दे रही है। प्रार्थिनी के समस्त सोने चांदी के जेवरात (स्त्रीधन) अभियुक्तगणों के कब्जे में है। पुलिस द्वारा यह जानते हुए भी कि उक्त समस्त स्त्रीधन आरोपीगण के कब्जे में है, इसके पश्चात् भी पुलिस ने आज दिनांक तक सोने चांदी के जेवरात (स्त्रीधन) की बरामदगी नहीं की है। प्रार्थीनी के ससुराल के समस्त सदस्य एक ही छत के नीचे निवास करते है, सभी ने प्रार्थीनी को दहेज की खातिर प्रताड़ित किया है, जिसमें चिपते हुए मकान में रहने वाले प्रार्थीनी के चाचा ससुर सत्यनारायण ने भी प्रार्थीनी के साथ हुई प्रताड़ना में पूर्ण सहयोग किया है ।प्रार्थीनी के पति द्वारा जो स्त्रीधन पुलिस थाना महिला में लाया गया उनमें केवल मात्र प्रार्थीनी के कपड़े थे जो कि अभियुक्तगणों द्वारा जानबूझकर फाड़कर पुलिस थाना में पेश किये थे। जबकि प्रार्थीनी के विवाह को मात्र 22 माह ही हुए है। यह कतई संभव नहीं है कि समस्त कपड़े बिना पहने ही फट जाये। प्रार्थीनी का पति धनराज राजनैतिक पहुंच का व्यक्ति है। स्थानीय विधायक ने पुलिस पर अपना प्रभाव बना रखा है। जिस कारण पुलिस प्रार्थीनी के पति धनराज के पुर्ण प्रभाव में हे।पुलिस उक्त प्रकरण में केवल मात्र औपचारिकताएं पूर्ण कर प्रार्थिनी को भ्रमित कर, समस्त स्त्रीधन बरामद किये बिना एवं पति के अतिरिक्त शेष मुल्जिमानों को आरोपी नहीं मानकर आरोप पत्र न्यायालय में प्रस्तुत करने की फिराक में है। जबकि उक्त प्रथम सूचना रिपोर्ट एवं प्रार्थिनी व उसके परिवारजन के बयानो से यह पूर्णतया स्पष्ट है कि सभी मुल्जिमानो ने प्रार्थिनी के साथ दहेज की मांग को लेकर शारीरिक व मानसिक प्रताड़ना कारित की है। प्रार्थिनी जब भी थाने गई, पुलिस द्वारा यही कहकर वापिस भेज दिया गया कि मुल्जिमान को बुलायेगे और जब मुल्जिम पति को बुलाया तो उसके साथ पुलिस द्वारा साहूकार की तरह व्यवहार किया गया। इस बाबत पीड़िता ने आईजी ओमप्रकाश से मिलकर न्याय दिलाने की मांग की है।

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