बीकानेर,अब आने वाले समय में बीकानेर के वकील जोधपुर हाई कोर्ट में बिना जाए ही सब तरह के लिटिगेशन पेश कर सकेंगे। केश की ई फाइलिंग होने के बाद सुनवाई की तारीख मिल सकेगी। फिर वीडियो कांफ्रेंसिंग से सुनवाई हो जाएगी और सुनवाई पूरी होने के बाद ई कोर्ट से फैसला भी यहीं मिल जाएगा। ई सुनवाई के दौरान कोर्ट रूम में मुवक्किल भी वीडियो कांफ्रेंसिंग में बहस सुन सकेेंगे। वकीलों को इसके लिए खुद को अपडेट करना होगा। यह संस्थागत व्यवस्था सुप्रीम कोर्ट ऑफ इंडिया के चीफ जस्टिस डा. डी . वाई. चंद्रचूड ने बीकानेर से ई-कोर्ट फेज थ्री में बीकानेर से वीडियो कांफ्रेंसिंग से सुनवाई की घोषणा के बाद होनी है। बीकानेर में हाई कोर्ट बैंच की मांग पूरी होने की यह एक सीढ़ी हो सकेगी। केंद्रीय विधि और न्याय राज्य मंत्री अर्जुन राम मेघवाल ने बीकानेर की जनता के साथ हाई कोर्ट की बैंच की मांग को पूरा करने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम बढ़ाया है। मंत्री के प्रयासो से सीजेआई बीकानेर आए और उनकी ओर से घोषणा किया जाना बीकानेर के लिए बड़ी उपलब्धि है। बीकानेर रियासत काल में 1922 से 1950 तक यहां हाई कोर्ट रहा है। पूर्व विधायक और बीकानेर बार के वरिष्ठ वकील आर.के. दास गुप्ता इसका श्रेय केंद्रीय मंत्री अर्जुन राम मेघवाल को देते हैं। वे इस घोषणा से प्रसन्न है। उनका कहना है कि बीकानेर में हाई कोर्ट की बैंच खुलने की दिशा में एक आगे बढ़ता कदम है। इस प्रयास का मेघवाल को राजनीतिक फायदा भी मिलेगा। वही देश में बीकानेर से ई कोर्ट क्रांति को और गति मिलेगी। इससे पहले सुप्रीम कोर्ट ने उड़ीसा के कई जिलों में प्रायोगिक तौर पर यह व्यवस्था की थी जो सफल रही। डा. चंद्रचूड ने कहा कि ई-कोर्ट फेज थ्री में भारत सरकार ने सात हजार करोड़ रुपए का बजट दिया है। इसके माध्यम से बीकानेर में वीडियो कांफ्रेसिंग में सुविधा मिलेगी।बीकानेर में बसे हुए वकील भी हाईकोर्ट में अपनी बहस कर सकेंगे। उन्होंने कहा कि अगर हम सुप्रीम कोर्ट ऑफ इंडिया है तो हर गांव-शहर तक पहुंचना चाहिए। हाईकोर्ट ऑफ जयपुर और हाईकोर्ट ऑफ जोधपुर सिर्फ जयपुर और जोधपुर का नहीं है, बल्कि पूरे राज्य का है। इससे पहले भाषण के दौरान केंद्रीय विधि एवं न्याय मंत्री मेघवाल ने संकेत दिया था कि बीकानेर को कुछ मिलने वाला है। जैसे ही बीकानेर में ई कोर्ट की चीफ जस्टिस ने घोषणा की कार्यक्रम स्थल पर कई वकील उत्साह से भरे दिखाई दिए, जबकि कुछेक ने बाहर आकर कहा मंत्री ने चुनाव को देखते हुए झुनझुना पकड़ाया है। वही इस घोषणा को बड़ी उपलब्धि मानने वाले वकील भी कम नहीं है। वकीलों के कुछ ग्रुप्स इस घोषणा को विधि मंत्री की ओर से बैंच खुलवाने के वादे को पूरा करने के प्रयास मान रहे हैं। जो भी हुआ एक सकारात्मक प्रयास सराहनीय ही कहा जाए।
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