बीकानेर,राजस्थान यूनिवर्सिटी ऑफ वेटेरनरी साइंस (राजूवास) में विवादित असिस्टेंट प्रोफेसर की भर्ती प्रक्रिया निरस्त कर दी गई है। पशुपालन विभाग के प्रमुख शासन सचिव ने भर्ती निरस्त होने के आदेश जारी किए हैं। इस भर्ती में धांधली की शिकायतें लंबे समय से हो रही थी। सीएमओ से लेकर राज्यपाल तक मामला पहुंचने के बाद यह निर्णय लिया गया।
राजूवास ने फरवरी 2022 में असिस्टेंट प्रोफेसर के 72 पदों पर भर्ती प्रक्रिया शुरू की थी। इसमें आवेदन होने के बाद शिकायतें सामने आई कि कई अभ्यर्थियों के अनुभव अंक बाद में जोड़ दिए गए हैं। इससे होने वाला परीक्षा परिणाम पारदर्शीय एवं निष्पक्ष नहीं होता।
उच्चस्तरीय समिति की जांच में माना शिकायत सही:
शिकायतों के आधार पर पशुपालन विभाग की एक उच्चस्तरीय समिति ने पूरे मामले की जांच की थी। इस जांच में माना गया कि भर्ती प्रक्रिया में कई त्रुटियां हैं। खासतौर पर यह सामने आया कि आवेदन की अंतिम तिथि निकल जाने के बाद स्कोर कार्ड में पशु चिकित्सा अधिकारी के अनुभव के अंक जोड़ दिए गए हैं।
सीएमओ से लेकर राज्यपाल तक पहुंचा मामला:
समिति की जांच रिपोर्ट को सीएमओ भेजा गया। वहां से अनुमोदन के बाद प्रशासनिक विभाग ने अनुशंसा दी कि शिकायत व जांच रिपोर्ट दोनों की कुलाधिपति यानी राज्यपाल को भेजी जाएं। राज्यपाल ने यह रिपोर्ट देखने के बाद सरकार को इस पर निर्णय लेने के निर्देश दिए।
प्रमुख शासन सचिव सीतारामजी भाले ने बुधवार को इस संबंध में ओदश जारी कर कहा ए प्रक्रिया त्रुटिपूर्ण मानी गई है इसलिए भर्ती निरस्त की जाती है। अब नए सिरे से इन पदों को विज्ञापित कर भर्ती प्रक्रिया शुरू करवाने को कहा है।
यह रही भर्ती की प्रकिया:
72 पदों पर भर्ती के लिए 23 जून 2022 से आवेदन।
18 जुलाई तक आवेदन लिए गए।
28 अगस्त को बोम की मीटिंग मे तय हुआ कि वेटेरनरी मेडिकल ऑफिसर पद पर काम करने वालों को चार अंक बोनस दिए जाएं।
14 सितंबर को इसका नोटिफिकेशन जारी किया।गड़बड़ी यह हुई:
आवेदन लेने के लगभग एक महीने बाद बोनस अंक देने का निर्णय लिया। ऐसे में काफी अधिकारी आवेदन ही नहीं कर पाए। चहेतों को इसका लाभ मिलने की पूरी संभावना हो गई। भर्ती के रोस्टर में गड़बड़ी और बैकलॉग पदो की गणना में गड़बड़ी बताई जा रही है।