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बीकानेर : राज्य सरकार के शिक्षा विभाग में प्रबोधक व शिक्षको से आठ माह पूर्व अगस्त में तबादले हेतू शाला दर्पण पर ऑनलाइन आवेदन मांगे गए जिसमें राज्य भर से 85 हजार से अधिक शिक्षको ने तबादले हेतु आवेदन किए। साथ ही टीएसपी क्षेत्र से नॉन टीएसपी क्षेत्र के निवासियों से विकल्प पत्र भी भरवाएं गए। लेकिन पांच माह बाद भीं सूची जारी नहीं हुई व दुसरी ओर शिक्षा विभाग ने रीट भर्ती के माध्यम से 15 हजार शिक्षको को जल्द नियुक्ती देने की तैयारी कर ली है। शिक्षक लम्बे समय से तबादले का इन्तजार कर रहे है ओर इन्हें लगा कि सरकार ने लंबे समय बाद आवदेन लिए है जल्द ही घर के पास जाने का मौका मिलेगा। लेकीन ये सपना ही बनकर रहता दिख रहा है। शिक्षक संघ एलीमेंट्री सेकेंडरी टीचर एसोसिएशन (रेसटा) के प्रदेशाध्यक्ष मोहर सिंह सलावद ने बताया की सरकार ने वरिष्ठ अध्यापक,व्याख्याता, एचएम,प्रधानाचार्य सभी के तबादले कर दिए फिर इन शिक्षको के साथ में सोतेला व्यवहार क्यों किया जा रहा है। इस सोतले व्यवहार के कारण राज्य भर के 85 हजार शिक्षको व उनके परिजनों में सरकार व विभाग के खिलाफ आक्रोश बढ़ता जा रहा है। विभाग ने आदेश जारी कर दिया उसके अनुसार लेवल वन में चयनित शिक्षकों को 23 मई तक स्कूल मिल जाएंगे ओर 25 मई तक पदस्थापन आदेश जारी हों जायेंगे जिससे अधिकाश रिक्त स्थान भर जाएंगे जिससे घर के नजदीक जाने वाले शिक्षको का तबादला नहीं हो पाएगा ओर उनकी वर्षो की तमन्ना दिल में ही रह जाएगी । सरकार तबादला नीति बनाए जाने की बात बोलकर तबादला सुची जारी नहीं कर रहीं है तो सवाल उठता है कि अन्य सभी केडर के तबादले बिना नीति के कर दिए फिर शिक्षको के लिए ही नीति की बात क्यों। संघ की ओर से तबादला सूची जल्द जारी करने की मांग को लेकर सीएम अशोक गहलोत, शिक्षा मंत्री डॉ.बीडी कल्ला, निदेशक गौरव अग्रवाल, कृषि विपणन मंत्री मुरारीलाल मीणा सहित अनेक मंत्रियों को ज्ञापन दे चुके है।

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